जयपुर: राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड सेवा नियम 2014 के नियम तीन के अंतर्गत रिटायर्ड मेजर जनरल आलोक राज को राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निर्देश के बाद कार्मिक विभाग के संयुक्त शासन सचिव डॉ. एसपी सिंह ने यह आदेश जारी किए हैं। आलोक राज का कार्यकाल जॉइनिंग की तारीख से अगले तीन साल तक रहेगा।
पायलट की मांग को गहलोत ने किया पूरा
दअसल बीते लंबे समय से प्रदेश में पेंडिंग प्रतियोगी भर्ती परीक्षाओं को पूरा करने के साथ ही पेपर लीक, नकल जैसे प्रकरणों को लेकर परीक्षार्थी और अलग-अलग राजनेताओं, राजनीतिक दलों की ओर से विरोध किया जा रहा था। पूर्व उप मुख्यमंत्री सीएम सचिन पायलट ने भी बेदाग छवि वाले व्यक्तियों को प्रतियोगी परीक्षा करने वाली एजेंसियों में अध्यक्ष और अन्य पदों पर नियुक्ति देने की मांग उठाई थी। सचिन पायलट की उस मांग को राज्य सरकार ने पूरा किया है। जिसमें उन्होंने पेपर लीक मामले को देखते हुए प्रतियोगिता परीक्षा की भर्ती परीक्षा करने वाली एजेंसी में आमूल-चूल बदलाव करने की मांग रखी थी और ख्याति प्राप्त लोगों को इसमें नियुक्ति देने को कहा था।
विद्यार्थियों ने किया था अनशन
इसके साथ ही राजस्थान बेरोजगार एकीकृत महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष उपेन यादव समेत कई स्टूडेंट्स ने निष्पक्ष तरीके से परीक्षा करवाने के लिए कर्मचारी चयन बोर्ड में अध्यक्ष नियुक्त करने की मांग की थी। पिछले दिनों स्टूडेंट्स ने अनशन भी किया था। सभी की मांगें सीएम गहलोत ने पूरी कर दी है।
कौन है मेजर जनरल अलोक राज
रिटायर्ड मेजर जनरल आलोक राज मूल रूप से राजस्थान के हैं। भारतीय सेना में 37 साल सेवाएं दे चुके आलोक राज जून 1983 सिख लाइट इंफ्रेंट्री रेजिमेंट की पहली बटालियन में कमीशंड हुए थे। बाद में राजस्थान, गुजरात और लद्दाख में भी इसी यूनिट की कमान संभाली। लद्दाख, श्रीलंका, राजस्थान, नार्थ ईस्ट, गुजरात और अंगोला में विभिन्न पदों पर आलोक राज ने अपनी सेवाएं दी। अरुणाचल प्रदेश और असम में लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर भी इनकी इन्फेंट्री तैनात रही। ऑपरेशन RHINO के दौरान गजराज कॉर्प्स के चीफ ऑफ स्टाफ रहे। इसके लिए इन्हें नार्थ ईस्ट में उत्कृष्ट सेवाओं के लिए भारत के राष्ट्रपति से 2019 में अति विशिष्ट सेवा मेडल (AVSM) प्राप्त हुआ।
ऑपरेशन पराक्रम और मेघदूत को किया था कमांड
आलोक राज नेशनल वार मेमोरियल, नई दिल्ली के चीफ प्रोजेक्ट कॉर्डिनेटर भी रहे। मैराथन धावक और पर्वतारोही मेजर जनरल (रिटायर्ड) आलोक राज समाज सेवा से भी जुड़े हैं। आलोक राज ने इंडियन आर्मी के ऑपरेशन पराक्रम और मेघदूत के दौरान इन्फेंट्री को कमांड किया था। इन्होंने यूनाइटेड नेशन सैन्य पर्येक्षक के रूप में अंगोला में विदेश में सैन्य मिशन में भी सेवाएं दीं। साल 2020 में एनसीसी के एडिशनल डायरेक्टर जनरल महाराष्ट्र में भी इनकी पोस्टिंग रही।
निष्पक्ष और पारदर्शी परीक्षा कराना होगा चुनौती
रिटायर्ड मेजर जनरल आलोक राज को अब निष्पक्षता और पारदर्शिता के साथ राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड (RSMSSB) की परीक्षा कराने का अहम जिम्मा सौंपा गया है। अब नया अध्यक्ष मिलने के बाद प्रतियोगी परीक्षा देने परीक्षार्थी में भी इससे कर्मचारी चयन आयोग के प्रति भरोसा और साख बढ़ेगी।