जयपुर। कांग्रेस ने राम मंदिर प्राण-प्रतिष्ठा कार्यक्रम से किनारा कर लिया है। जिसके बाद से भारतीय जनता पार्टी उसपर हमलावर है। साथ ही कांग्रेस के अपने नेता भी पार्टी के इस फैसले से नाराज बताये जा रहे हैं। इसी बीच कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने इस मामले को लेकर प्रतिक्रिया दी है।
मंदिर पर हो रही राजनीति
पायलट ने गुरुवार को मीडिया से बात करते हुए कहा कि राजनीति और धर्म को अलग-अलग रखना चाहिए। अगर धर्म के आड़ में राजनीति हो रही है तो उसे कोई स्वीकार नहीं करेगा। हम जनता के मुद्दों, विकास, शिक्षा, रोजगार पर चर्चा करना चाहते हैं लेकिन भाजपा इसपर चर्चा के लिए तैयार नहीं है। भावनात्मक मुद्दों के आड़ में वोट लेना भाजपा की परंपरा रही है। कोई कभी भी मंदिर जा सकता है लेकिन इस तरह का जो राजनीतिकरण हो रहा है उसे कांग्रेस पार्टी ने गलत माना है।
आरएसएस/ बीजेपी का कार्यक्रम
बता दें कि कांग्रेस नेता प्राण-प्रतिष्ठा कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे। इसे लेकर पार्टी की तरफ से एक बयान जारी किया गया है जिसमें कहा गया है कि यह पूरी तरह से आरएसएस/बीजेपी का कार्यक्रम है इसलिए सोनिया गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गे और अधीर रंजन चौधरी इसमें शामिल नहीं होंगे। कांग्रेस ने इस कार्यक्रम को ”RSS/भाजपा का कार्यक्रम बताया है। उनका कहना है कि भाजपा और आरएसएस के नेताओं द्वारा अधूरे मंदिर का उद्घाटन स्पष्ट रूप से चुनावी लाभ के लिए किया गया है।