जयपुर। इन दिनों राजस्थान कांग्रेस का सियासी पारा हाई है। साथ ही प्रदेश में बयान बाजी का दौर भी जारी है। अब इसी बीच पूर्व सीएम अशोक गहलोत के बयान के बाद पूर्व कांग्रेसी नेताओं ने भी मोर्चा खोल दिया है। जिसे लेकर आरोप-प्रत्यारोप जारी है। दरअसल, पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने कांग्रेस से जा चुके नेताओं को नकारा, निकम्मा और गद्दार कहा है, जिसे लेकर पूर्व विधायक रिछपाल मिर्धा (Richpal Singh Mirdha), पूर्व कांग्रेस नेता सुरेश मिश्रा ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं।
दूसरी तरफ कांग्रेस नेता सुशील आसोपा ने भी इसे लेकर कई बातें कही हैं। बता दें कि पूर्व सचिव सुशील आसोपा ने कहा, कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में जाने वालों से गहलोत की नाराजगी वाजिब है। उनको गद्दार, नाकारा, एनपीए, निकम्मा आदि कहना गांधी की कांग्रेस की भाषा नहीं है। वैसे भी राजेंद्र यादव, लाल चंद कटारिया, रिछपाल मिर्धा आदि आपके इतने खास थे उनके लिए ये शब्द, हे राम!
रिछपाल मिर्धा का पलटवार
बता दें कि अशोक गहलोत के ख़ास रहे और पूर्व विधायक रिछपाल मिर्धा (Richpal Singh Mirdha) ने एक वीडियो जारी किया है। जिसमें उन्होंने कहा कि पूर्व सीएम की बात तीन बार सुनने के बाद समझ आती है कि किसने सत्ता का सुख भोगा है। मिर्धा ने कहा कि कांग्रेस छोड़ने की वजह सिर्फ अशोक गहलोत हैं। हमें तो मान-सम्मान बचाना था, इसलिए कांग्रेस को छोड़ना पड़ा। उन्होंने कहा कि हमने ईमानदारी से कांग्रेस के लिए काम किया था।
पूर्व विधायक रिछपाल मिर्धा ने आगे कहा, 4 जून से पहले अशोक गहलोत ये बयानबाजी कर लें, क्योंकि उनके काम का इम्तिहान जालोर में पता चलेगा। जालोर का रिजल्ट ही सबकुछ बता देगा। मिर्धा ने कहा, अशोक गहलोत ने अपने लोकप्रिय नेताओं को भी यह सब कह दिया था। हम लोगों ने घर से पैसा लगाकर पार्टी के लिए काम किया है। राजस्थान में कांग्रेस की खराब स्थिति होने की बड़ी वजह खुद अशोक गहलोत हैं।
क्या बोले पूर्व कांग्रेस नेता सुरेश मिश्रा?
वहीं राजस्थान के पूर्व कांग्रेस नेता सुरेश मिश्रा ने भी अशोक गहलोत से कई सवाल किए हैं। उन्होंने कहा कि जब राजस्थान में कांग्रेस ने सबसे अधिक सीटें जीती थीं तब भी अशोक गहलोत ने खेल किया था। सुरेश मिश्रा ने कहा कि 1998 में अशोक गहलोत सीएम चेहरा नहीं थे फिर भी उन्हें सीएम बनाया गया। इस तरह से साल 2008 में भी अशोक गहलोत ने खेल कर के सीएम बनने का काम किया।