Friday, November 22, 2024

राजस्थान: क्या है खेरवाड़ा विधानसभा क्षेत्र का चुनावी इतिहास, जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर

जयपुर। खेरवाड़ा विधानसभा सीट राजस्थान की महत्वपूर्ण विधानसभा सीट है. खेरवाड़ा विधानसभा सीट राजस्थान के उदयपुर जिले में आती है. ये उदयपुर लोकसभा सीट का हिस्सा है, जो मेवाड़ इलाके में पड़ता है.इस विधानसभा सीट में वोटरों की कुल संख्या 234596 है. खेरवाड़ा क्षेत्र आदिवासी बहुमूलय है. तात्पर्य यह है कि यहां आदिवासियों की मात्रा अधिक है. राजस्थान के उदयपुर जिले में कुल 8 विधानसभा सीटे हैं. नमन 6 सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित और 2 सीटें सामान्य है. भारतीय जनता पार्टी का 6 सीटों पर कब्जा है हालांकि एक पर कांग्रेस और एक सीट पर निर्दलीय विधायक हैं. खेरवाड़ा का नाम एक समय इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में मौजूद खैर (खैर) के पेड़ों के कारण पड़ा। खेरवाड़ा में सबसे पहले चुनाव 1977 में हुआ. जिसमें जनता पार्टी से उम्मीदवार रहें सुरव्य प्रकाश ने 51.35 प्रतिशत से वोट प्राप्त कर जीत दर्ज कराई। दूसरे स्थान पर भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस रही. जिन्हे 38.31 प्रतिशत वोट मिला। आईएनसी से उम्मीदवार रहे मान सिंह को 38.31 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ. वहीं आईएनडी को 10.34 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ.

1980 में हुए विधानसभा चुनाव परिणाम

1980 में हुए विधानसभा चुनाव में आईएनसी से उम्मीदवार रहे रूपलाल नर की जीत हुई. उन्हें कुल 46.05 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ. दूसरे स्थान पर जनता पार्टी से उम्मीदवार रहे दया राम नर को 19.17 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ. तीसरे स्थान पर बीजेपी रही. जिसे 18.09 प्रतिशत वोट प्राप्त हुआ. भारतीय जनता पार्टी से सूर्य प्रकश पुरुष उम्मीदवार थे. चौथे स्थान पर आईएनडी निर्दलीय से विद्यासागर नर उम्मीदवार रहे. उन्हें कुल 13.72 प्रतिशत वोट मिला। 1985 में हुए विधानसभा चुनाव की बात करें तो आईएनडी स्वतंत्र से दया राम परमार उम्मीदवार ने 45.68 प्रतिशत वोट प्राप्त कर जीत दर्ज की. दूसरे स्थान पर आईएनसी से रूप लाल परमार को 44.98% वोट प्राप्त हुआ. जेएनपी से मांगी लाल मीना को 4.57 %, सीपीआई से किशोर सिंह को 3.63% और आईएनडी स्वतंत्र से भेरा मीना को 1.14% वोट प्राप्त हुआ था.

1990 में हुए विधानसभा चुनाव परिणाम

1990 में हुए विधानसभा क्षेत्र में आईएनसी के उम्मीदवार दयाराम पुरुष ने 47.1% वोट से जीत हासिल की वहीं दूसरे स्थान पर सूर्य प्रकाश डोडा ने भारतीय जनता पार्टी से 32.83% वोट हासिल किया था. तीसरे स्थान पर जनता दल शिवराम नर 10.61% वोट हासिल किए. वहीं डीडीपी दूरदर्शी पार्टी ने भेरा मीना पुरुष ने 1.64% वोट हासिल किए.
1993 में हुए विधानसभा चुनाव में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने दया राम परमार को अपना उम्मीदवार बनाया और 44.89% लाकर विजय का परचम लहरया वहीं भारतीय जनता पार्टी से सालिग राम नर को 36.96% वोट मिला।

1993 और 1998 के क्या रहे विधानसभा चुनाव परिणाम ?

बता दें कि सन 1993 ने हुए विधानसभा चुनाव में आईएनसी से दया राम परमार ने जीत दर्ज की थी. दूसरे स्थान पर बीजेपी से सालिग राम नर को 36.96% वोट प्राप्त हुआ। सन 1998 में आईएनसी से दया राम परमार की जीत हुई. उन्हें कुल वोट 30.55% प्राप्त हुआ था.

2003 और 2008 में चुनाव के नतीजे

2003 में हुए विधानसभा चुनाव की बात करें तो भारतीय जनता पार्टी से नाना लाल हारी ही जीत हुई थी. कुल वोट का प्रतिशत 49.01 मिला। वहीं दूसरे स्थान पर आईएनसी से दया राम परमार को 45.14% वोट मिला। 2008 में आईएनसी की जीत हुई. आईएनसी से दयाराम परमार पुरुष ,उम्मीदवार रहे उन्हें कुल वोट 50.2% मिला. वहीं दूसरे स्थान पर बीजेपी रही, जिसके उम्मीदवार लाल अहारी पुरुष रहे. उन्हें कुल वोट 39.42% मिला।

2013 और 2018 के चुनाव परिणाम

2013 में हुए विधानसभा चुनाव की बात करें तो भारतीय जनता पार्टी की जीत हुई. इस पार्टी से उम्मीदवार रहे नाना लाल अहारी
पुरुष को 49.3% वोट मिला था. वहीं दूसरे स्थान पर भारतीय कांग्रेस रही थी, भारतीय कांग्रेस से दयाराम परमार पुरुष उम्मीदवार रहे थे. उन्हें कुल वोट 42.81% मिला। 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी ने विजय प्राप्त की. कांग्रेस से दयाराम परमार पुरुष उम्मीदवार रहे. उन्हें कुल वोट 48.45% प्राप्त हुआ वहीं भारतीय जनता पार्टी जो दूसरे स्थान पर रही. नानालाल अहारी पुरुष को 35.45% वोट प्राप्त हुआ था.

क्या होगा आगमी विधानसभा चुनाव का परिणाम ?

आगामी विधानसभा चुनाव में पार्टियों के बीच जमकर मुकाबला होने वाला है. सवाल कई सारे है. क्या एक बार बीजेपी और एक बार कांग्रेस पार्टी का सत्ता में आने का सिलसिला जारी रहेगा? जैसा की खेरवाड़ा विधानसभा चुनाव में होता आया है, या ये सिलसिला आगामी विधानसभा चुनाव में खत्म हो जाएगा। ये तो आने वाला समय ही बताएगा।

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