जयपुर। आतंकवाद अहमद रजा उर्फ शारूख को एटीएएस ने धर दबोचा है. शारूख ने 13 साल की उम्र में गांव छोड़ दिया था. जयपुर के मदरसे से उसने पढ़ाई की. फिर हाफिज बन बच्चों को शिक्षा देने लगा था लेकिन उसके मनसूबे खतरनाक थे. वो भारत में शरिया लागू करना चाहता था. सोशल मीडिया के माध्यम से शारूख आतंकी संगठनों से जुड़ गया.
आतंकी शारूख हुआ गिरफ्तार
आपको बता दें कि संदिग्ध अहमद रजा ने हिजबुल के सदस्य फिरदोस और पकिस्तान के हैंडलर के कहने पर जम्मू-कश्मीर की राजधानी श्रीनगर और अनंतनाग में जाकर हथियार चलाने की ट्रेनिंग ली थी. अहमद रजा का परिवार मूढ़पांडे के मिलक गुलड़िया गांव में रहता है. परिवार में मां,पिता और छह भाई-बहन है. जानकारी के अनुसार बड़ा भाई सद्दाम रामपुर में रहता है वहीं छोटा भाई जुनैद अभी इंटरमीडिएट का छात्र है. दो बहनों की शादी हो गई है जबकि छोटी बहन अभी अविवाहित है. एटीएस समेत अन्य अजेंडियों द्वारा बताया गया कि अहमद राजा 13 साल की उम्र में जयपुर स्थित मदरसे में पढ़ाई करने गया था. कई साल तक उसने इसी मदरसे में पढ़ाई की. पढ़ाई के बीच-बीच में वह कभी- कभी घर आया करता था.
जिहादी संगठनों से होने लगा प्रभावित
जानकारी के अनुसार कभी-कभी परिवार के लोग उससे मिलने जयपुर जाते थे. इसी बीच वह पाकिस्तान और अफगानिस्तान में सक्रिय जिहादी संगठनों से प्रभावित होने लगा. शारुख ने एटीएस को पूछताछ में बताया कि वह उनकी जिहादी विचारधाराओं से काफी प्रभावित था. सारा दिन उन्ही की विडियो को देखता था. इसके बाद वह आंतकी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दिन और पाकिस्तान के हैंडलर से जुड़ गया था.
अहमद रजा फिरदौस के संपर्क में आया
अहमद रजा जम्मू कशअमीर के अनंतनाग निवासी फिरदौस हिजबुल मुजाहिद्दिन पीर पंजाल तंजील का सदस्य है. अब वह आतंकी कमांडो की ट्रेनिंग लेने के लिए पाकिस्तान के रास्ते अफगानिस्तान जाने वाला था. एटीएस को भनक लगने के बाद उसे दबोच लिया गया. मगर उस वक्त वो एटीएस के द्ववारा बिछाए गए जाल से वह भाग निकलने में सफल हो गया था. दो दिन पहले वह जयपुर से मुरादाबाद आया था. इसके बाद एटीएस ने उसे करनपुर अड्डे के पास से दबोचा और अपने साथ ले गई थी.
इंदौर मे मिली प्रेमिका
पढ़ाई पूरी करने के बाद परिजन उस पर वापस आने के लिअ दबाव बनाते रहे मगर उसने मना कर दिया। जयपुर में ही शारुख ने मध्यप्रदेश के इंदौर की निवासी आसमां से निकाह कर लिया। अब उसकी एक साल की बेटी है. शारुख के इस कदम से परिवार वाले खफा हो गए और उसे बेदखल कर दिया। इसके बाद भी कई बार वो पत्नी और बच्ची को लेकर गांव आया करता था लेकिन ज्यादा नहीं रुकता था.
आतंकी जान, गांव वाले रह गए हैरान
गांव वालो को जब पता चला किअहमद रजा उर्फ शाहरुख आतंकी बन गया तो सब हैरान रह गए. उन्हें कभी लगा ही नहीं कि अहमद रजा इस तरह की गतिविधियों में शामिल हो सकता है. परिवार वालों से भी कभी उसने आंतकी संगठनो के बारे में कोई चर्चा नहीं की. उसकी मां का कहना है कि उसका बेटा किसी संगठन से नहीं जुड़ा है। वह ईद पर घर आया था। कुछ दिन रुकने के बाद चला गया था। दो दिन पहले वह घर आ रहा था। करनपुर अड्डे से कुछ लोग पकड़ ले गए थे।