जयपुर। राजस्थान से एक चौंका देने वाली ख़बर सामने आ रही है, बीते रविवार को राजौरी स्थित सेना अस्पताल में डॉ. कविता मील(मेजर) का निधन हो गया. आपको बता दें कि डॉ. कविता मील(मेजर) झुंझुनूं जिले के पिलानी क्षेत्र के सुजडौला गांव निवासी थी. वह सेना हॉस्पिटल में एक डॉक्टर के तौर पर कार्यरत थी.
जब गांव में मेजर की बर्दी और तिरंगे में लिपटी हुई पहुंची तो सबकी आँख आंसुओं से भर गया. मानो गांव में पूरा सन्नाटा सा छा गया, एक ही पुकार कि आज देश के सैनिकों का उपचार करने वाली मसीहा का भी अंत हो गया। आपको बता दें कि गांव वालों ने बताया कि हार्ट अटैक से उनका निधन हो गया। वहीं दूसरी तरफ ख़बर मिली कि उनका अंतिम संस्कार आज (बुधवार) को बड़े सम्मान के साथ उनके पीहर में किया जाएगा।
सरपंच द्वारा दी गई ये जानकारी
गांव के सरपंच अनूप सिंह ने कहा कि रविवार को सेना मुख्यालय से सूचना मिलने के बाद ही डॉ. कविता के पिता कमल सिंह राजौरी अस्पताल में पहुंचे थे। सूचना के बाद पूरे गांव में मातम छा गया। आपको बता दें कि मेजर कविता मील अपनी पढाई झुंझुनूं के केन्द्रीय विद्यालय से पूरा की थी। वहीं साल 2017 में कविता ने आर्मी में बतौर डॉक्टर बनी थी। मेजर के पिता कमल सिंह भी आर्मी के मेडिकल डिपार्टमेंट से रिटायर हैं। इनके पति दीपक भी आर्मी में बतौर मेजर रैंक पर कार्यरत हैं, अभी उनके पति की पोस्टिंग बीकानेर है।
फौजियों के जान बचाने के पीछे वजह
आपको बता दें कि जब कविता महज 12 साल की थी तो उनके भाई को एक बीमारी के कारण दम तोड़ना पड़ा था. उस समय कविता ठान ली कि जब भी बनूंगी डॉक्टर ही बनूंगी। आपको बता दें कि कविता बचपन से ही जिद्दी मिजाज की लड़की थी जो ठान लिया उसे करना ही है. कविता MBBS की पढाई अपने जिला के सरकारी कॉलेज से पूरा की और बतौर 2017 में सेना ज्वाइन की और एक डॉक्टर के तौर पर कार्यरत रही. उस समय से उन्होंने कई सैनिकों की ईलाज कर जान बचाई।
कब हुई थी शादी
परिवार के माध्यम से जानकारी मिली कि मेजर कविता की शादी महज 4 माह पहले हुई थी. मेजर कविता का पति भी सेना में मेजर रैंक पर बीकानेर में है. वहीं उनके पिता सेना के मेडिकल विभाग से रिटायर है.